सुनील वर्मा
नई दिल्ली। दिल्ली में बीती रात हुई गैंगवार की घटना जिसमें एक एएसआई शहीद हो गए और दो बदमाशों को मारे गए उसने पुलिस के 24 घंटे अलर्ट रहने की पोल खोल दी है। जिस इलाके में गोलीबारी हुई उसके आधा किलोमीटर की दूरी पर पीसीआर वैन भी खड़ी थी। हैरानी की बात ये है कि जिस हिस्ट्रीशीटर बदमाश की सुरक्षा में मृतक और घायल पुलिस कर्मी तैनात थे उनके पास हथियार तो थे लेकिन उन्हें चलाने का मौका ही नहीं मिला । पुलिस अधिकारी गोपनीय ढंग से इस बात की जाँच कर रहे हैं कि ड्यूटी कर रहे पुलिस वाले कहीं शराब के नशे में तो नहीं थे । साथ ही इस बात का लगाने की लिए क्राइम ब्रांच को लगाया गया है कि हमलावर बदमाश किस गिरोह से जुड़े थे।
बता दें कि दिल्ली के मियांवाली इलाके में रविवार देर रात हुई गैंगवार से हड़कंप मच गया था । इस गैंगवार में दिल्ली पुलिस के एक एएसआई समेत 3 लोगों की मौत हो गयी। जबकि दिल्ली पुलिस का एक कांस्टेबल घायल हो गया।
दिल्ली पुलिस के मुताबिक बवाना का रहने वाला भूपेंद्र ऊर्फ मोनू दरियापुर में अपने दोस्त अरुण और अपने दो सुरक्षाकर्मियों के साथ कार में बैठा हुआ था। भूपेंद्र पर कई अपराधिक मामले भी दर्ज हैं। जानकारी के मुताबिक रात करीब 11.15 बजे गाड़ी के पास कुछ बदमाश पहुंचे और अंधाधुंध फायरिंग शुरू कर दी।
घटना बीती रात करीब 11 बजे की है जब बाइक सवार कुछ बदमाश आए और कार पर ताबड़तोड़ फायरिंग शुरू कर दी। इससे पहले कि कार में बैठे पुलिसकर्मी कोई जवाबी कार्यवाही कर पाते बदमाशो ने उन्हें गोली से भून डाला और मौके से फरार हो गए। इस वारदात में भूपेंद्र, दिल्ली पुलिस का सहायक सब इंस्पेक्टर विजय सिंह और रोहिणी का रहने वाले अरुण की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि एक अन्य पुलिस कांस्टेबल कुलदीप घायल हो गया। कुलदीप को नजदीक के अस्पताल में भर्ती कराया गया है। मौके पर खड़ी कार और उसके आसपास पड़ा खून और गोलियों के दर्जनों खोखे देख कर साफ अंदाज़ लगाया जा सकता है कि वारदात के समय मंजर कितना खौफनाक रहा होगा। इस बात की भी आशंका है कि अपराधियों के पास ऑटोमेटिक वेपन भी हो सकते हैं।
कार में भूपेंद्र के साथ बैठे एएसआई विजय की गोली लगने से मौके पर ही मौत हो गई। गोली लगने से भूपेंद्र और उसके दोस्त अरुण की भी मौत हो गई। इस गोलीबारी में दिल्ली पुलिस का कांस्टेबल कुलदीप घायल हो गया। जिसका फिलहाल इलाज चल रहा है। भूपेंद्र नाम के जिस शख्स पर ये हमला हुआ वो एक नामी बदमाश है। उस पर कई गंभीर आपराधिक मुकदमे दर्ज हैं। दिल्ली पुलिस के एएसआई और एक कांस्टेबल भूपेंद्र की सुरक्षा में तैनात थे। जिस वक्त बदमाश भूपेंद्र पर हमला करने पहुंचे, तब दोनों पुलिसकर्मी भूपेंद्र के साथ मौजूद थे, जिसके चलते वो भी बदमाशों की गोलियों का शिकार हो गए।
दिल्ली में बदमाशों के हौसले कितने बुलंद है इस बात का अंदाज़ा इसी बात से लगाया जा सकता है कि दिल्ली में पिछले 3 दिन के अंदर दूसरा गैंगवार हुआ है। शनिवार को रोहिणी कोर्ट के बाहर हुए गैंगवार में एक नामी बदमाश की हत्या हो गई थी। इस साल के शुरुआत में भी साउथ ईस्ट दिल्ली के अम्बेडकर नगर थाना इलाके में जबरदस्त शूट आउट हुआ था। इस शूटआउट में दो लोगों पर ताबड़तोड़ गोलियां चलाई गई थी, जिसमें एक शख्स की मौत हो गई थी।