लखनऊ।

प्रभावशाली अपराधियों को बचाना उत्‍तर प्रदेश पुलिस की ही फितरत में शामिल है। शायद यही वजह है कि पिछले कई दिनों से पूर्व मंत्री गायत्री प्रजापति पुलिस को छकाते रहे और लंबे समय तक कानून के शिकंजे में नहीं आ पाए। इससे अखिलेश सरकार की किरकिरी भी हुई, लेकिन प्रजापति को नहीं पकड़ा जा सका। विधान सभा चुनाव में समाजवादी पार्टी की करारी हार के बाद आखिरकार प्रजापति पुलिस के हत्थे चढ़ गए। लखनऊ से गिरफ्तार गैंगरेप के इस आरोपी को कोर्ट ने 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजा है।

उत्तर प्रदेश के पुलिस महानिदेशक कार्यालय की ओर से इस खबर की पुष्टि की गई और बताया गया कि प्रजापति को लखनऊ से गिरफ्तार कर लिया गया है। मंगलवार को उनके बेटे और भतीजे को हिरासत में लेकर पूछताछ कर रही पुलिस ने इस केस के सभी सात आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। इस तरह महज 10 साल में फर्श से अर्श तक पहुंचने वाले गायत्री एक बार फिर फर्श पर पहुंच गए हैं।

पुसिस की नाकामी ने ही एक आरोपी को ऐसा संरक्षण दिया कि जिस तरह से वह राजनीतिक सीढ़ियां चढ़ता रहा, वह हैरत में डालने वाला उदाहरण है। एक समय था जब प्रजापति बीपीएल कार्ड धारक हुआ करते थे लेकिन अब वह बीएमडब्लू सरीखी कई लग्जरी कारों के मालिक हैं।

गायत्री प्रसाद प्रजापति के खिलाफ शिकायत दर्ज करवाने वाली महिला का आरोप है कि मंत्री ने उसे पार्टी में ऊंचा पद दिलाने के नाम पर पिछले दो साल में कई बार उससे रेप किया  और उसकी नाबालिग बेटी के साथ छेड़छाड़ की। महिला का यह भी आरोप है कि इस मामले में पुलिस ने उसकी शिकायत पर कोई कार्रवाई नहीं की।

हाल में इसी मामले में सुप्रीम कोर्ट ने गायत्री प्रसाद प्रजापति के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने के आदेश दिए और कहा कि अगर आरोपी प्रभावशाली है, तो इसका मतलब यह नहीं हो सकता कि पुलिस एफआईआर भी दर्ज न करे। हालांकि एफआईआर दर्ज न किए जाने का यह इकलौता मामला नहीं है।

सुप्रीम कोर्ट ने उत्तर प्रदेश सरकार को एफआईआर दर्ज कर मामले की जांच करने और फाइनल रिपोर्ट दाखिल करने का आदेश दिया था, लेकिन राज्य सरकार ने अपनी रिपोर्ट में कहा था कि मामले की जांच में कोई अपराध सामने नहीं आया है।

गायत्री प्रजापति एक गरीब परिवार से आते हैं। वह कॉन्ट्रेक्टर बनने के बाद स्थानीय राजनीति में शामिल हुए। साल 2002 में वह बीपीएल कार्ड धारक हुआ करते थे लेकिन उन पर 942 करोड़ से अधिक की संपति अर्जित करने का आरोप लगता रहा है। यूपी सरकार के सबसे विवादस्पद मंत्रियों में शुमार गायत्री प्रजापति साल 2002 तक गरीबी रेखा के नीचे आते थे। साल 2012 में उन्होंने अपनी कुल संपत्ति 1.83 करोड़ रुपये बताई थी। साल 2009-10 में उनकी सालाना आय 3.71 लाख रुपये थी लेकिन वही गायत्री प्रसाद प्रजापति अब बीएमडब्लू जैसी लग्जरी कार से चलते हैं।