निशा शर्मा।

पंजाब के पुत्तर और बॉलीवुड के हीमैन धर्मेंद्र आज 82 साल के हो गए। धर्मेन्द्र ने अब तक करीब दो सौ फिल्मों में काम किया है। जिसमें उन्होंने कई बड़ी हिट फिल्में दी जैसे बंधिनी, काजल, फूल और पत्थर, मेरा गांव मेरा देश, चुपके-चुपके, शोले, सत्यकाम आदि। धर्मेंन्द्र ने अपनी अदाकारी का लोहा हिट फिल्में देकर मनवाया।

लोग उनकी फिल्मों के साथ- साथ उनकी लुक के भी कायल थे। यही वजह रही कि धर्मेंन्द्र ने बॉलीवुड में सबसे हेंडसम होने का अवार्ड अपने नाम किया। लेकिन अवॉर्ड के मामले में धर्मेद्र को कभी बेस्ट एक्टर का फिल्म फेयर या राष्ट्रीय अवॉर्ड नहीं मिल पाया। चाहे उन्होंने कितनी ही बड़ी हिट फिल्म इंडस्ट्री को दी हो। या कह लें कि प्रोडयूसर को कितनी भी अच्छी कमाई क्यों ना करके दी हो। इस बार को लेकर कई बार सवाल भी उठे लेकिन धर्मेंन्द्र इस पर कभी नहीं बोले । वह हमेशा यही कहते नजर आए कि उन्होंने अवार्ड के लिए भले ही जगह ना बनाई हो लेकिन लोगों के दिलों में जगह जरुर बनाई है।

अपने करियर में धर्मेन्द्र ने हर किस्म के रोल किए। रोल चाहे फ़िल्म सत्यकाम के सीधे-सादे ईमानदार हीरो का हो, फ़िल्म शोले के एक्शन हीरो का हो या फिर फ़िल्म चुपके चुपके के कॉमेडियन हीरो का, सभी किरदारों को सफलतापूर्वक निभा कर इन्होंने दिखा दिया कि धर्मेंद्र सिंह देओल अभिनय प्रतिभा के धनी ही नहीं उच्च कोटि के कलाकार भी हैं।

खबर आती रही कि बेस्ट एक्टर के तौर पर धर्मेन्द्र को अवार्ड ना मिलना ज्यूरी की चापलूसी ना करने का कारण है। हालांकि अपनी मेहनत और अभिनय के स्टाइल ने धर्मेंन्द्र को वो मुकाम दिया जिसके वो हकार रहे। यही कारण रहा कि पंजाब से आया एक आम लड़का बॉलीवुड का सितारा हो गया। आखिर में 1997 में उन्हें लाइफ टाइम अचीवमेंट के पुरस्कार और 2012 में पद्मा भूषण से सम्मानित किया गया। धर्मेन्द्र को चाहने वालों का कहना है कि उनके लिए उनके अभिनय से सजी फिल्में ही अवार्ड हैं।